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किसानों को टोकन के माध्यम से वितरित किए जाएंगे कपास के बीज

अभी कपास की बुआई का समय चल रहा है, साथ ही कृषि वैज्ञानिकों ने इस साल कपास की फसल को गुलाबी सुंडी से बचाने के लिए मई महीने में ही कपास की बुआई करने की सलाह दी है। ऐसे में अचानक से कपास के बीजों की मांग बढ़ी है खासकर कपास की नई उन्नत क़िस्मों की। जिसको देखते हुए कपास के बीज लेने के लिए किसानों की लाइन लगी हुई है, किसानों को कपास के बीज लेने के लिए घंटों लाइन में खड़े होकर इंतजार करना पड़ रहा है। ऐसे में शासन किसानों को मांग के अनुसार बीज उपलब्ध कराने की तैयारी में जुटा हुआ है।

इस कड़ी में खरगोन जिले में कपास बीज की विशेष किस्म की मांग को देखते हुए कलेक्टर कर्मवीर शर्मा ने 16 मई को कृषि आदान विक्रेता संघ के अध्यक्ष एवं अन्य कृषि आदान विक्रेताओं के साथ बैठक कर इस संबंध में व्यवस्था बनाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने समस्त थोक एवं खेरची बीज विक्रेताओं को स्पष्ट निर्देश दिये हैं कि कपास बीज वितरण में किसी भी प्रकार की अनियमितता या कालाबाजारी की जाती है तो उनके विरूद्ध तत्काल एफ.आई.आर. दर्ज करते हुए दण्डात्मक कार्यवाही की जाएगी।

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विशेष किस्मों के बीज टोकन के माध्यम से दिये जाएंगे

16 मई को हुई बैठक में तय किया गया कि जिले के समस्त किसानों को कपास की किस्म विशेष का वितरण टोकन के माध्यम से ही किया जाएगा। वर्तमान में कपास बीज रासी सीड्स (659) एवं निजुवीडू सीड्स (आशा-1) कपास बीज की किस्म विशेष की मांग है। अगले चार से पांच दिनों में किस्म विशेष कपास बीज जिले के 19 थोक विक्रेताओं को प्राप्त मात्रा अनुसार संबंधित क्षेत्र (विकासखण्ड) में टोकन के माध्यम से एवं कृषक की पावती पर दर्ज करते हुए वितरण किया जाएगा। साथ ही जिले में प्राप्त किस्म विशेष की मात्रा अनुसार ही टोकन का वितरण किया जाएगा।

कपास बीज के स्टॉक की होगी जांच

बैठक में निर्देशित किया गया कि कपास, बीज के थोक व खेरची विक्रेता के प्रति दिवस के स्टॉक की जांच की जाएगी। किसी विक्रेता द्वारा किसी भी प्रकार की अनियमितता की जाती है तो उसके विरूद्ध दण्डात्मक कार्यवाही की जाएगी। सभी कपास बीज किस्म विशेष के थोक विक्रेता द्वारा बिना टोकन के कृषक को बीज प्रदाय नही किया जाएगा। किसानों से अपील की गई है कि जिले में अन्य कम्पनियों का अच्छा उत्पादन देने वाली किस्मों का कपास बीज पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है, जिसे पंजीकृत निजी विक्रेता से निर्धारित दर पर खरीद कर बुवाई करे।

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