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बड़ी खबर: देसी गाय खरीदने के लिए सरकार देगी 25 हजार रुपए तक की सब्सिडी

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देसी गाय खरीदने पर अनुदान

देश में किसानों की आय बढ़ाने के लिए सरकार द्वारा जैविक एवं प्राकृतिक खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है, जिससे खेती की लागत कम कर बेहतर उत्पाद प्राप्त करके किसान अधिक आय अर्जित कर सकें। इस क्रम में मध्य प्रदेश सरकार के बाद अब हरियाणा राज्य सरकार भी किसानों को प्राकृतिक खेती के लिए देसी गाय खरीदने पर अनुदान देने जा रही है। इसके अलावा राज्य सरकार जीवामृत का घोल तैयार करने के लिए चार बड़े ड्रम किसानों को निशुल्क देगी।

26 जून के दिन हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल खट्टर ने करनाल के डॉ० मंगलसैन ऑडोटोरियम हॉल में प्राकृतिक खेती पर आयोजित राज्यस्तरीय समीक्षा बैठक में मुख्यातिथि के रूप में भाग लिया। मुख्यमंत्री ने कृषि विशेषज्ञों से सीधा संवाद किया और प्राकृतिक खेती को बढ़ाने के टिप्स दिए। साथ ही मुख्यमंत्री प्राकृतिक खेती पर दिए जाने वाले अनुदान की घोषणा भी की।

देसी गाय की खरीद पर दी जाएगी 25 हजार रुपए की सब्सिडी

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि प्रदेश में प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के लिए देसी गाय की खरीद पर 25 हजार रूपये तक की सब्सिडी देने व प्राकृतिक खेती के लिए जीवामृत का घोल तैयार करने के लिए चार बड़े ड्रम किसानों को निशुल्क देगी। ऐसा करने वाला हरियाणा देश का पहला राज्य होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि पोर्टल पर रजिस्टर्ड 2 से 5 एकड़ भूमि वाले किसानों, जो स्वेच्छा से प्राकृतिक खेती अपनाएंगे, उन्हें देसी गाय खरीदने के लिए 50 प्रतिशत सब्सिडी प्रदान की जाएगी।  

1253 किसानों ने कराया है प्राकृतिक खेती के लिए पंजीयन

हरियाणा सरकार ने राज्य में 50 हजार एकड़ भूमि में प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने का लक्ष्य रखा है, लोगों को इसके प्रति जागरूक करने के लिए हर खंड में एक प्रदर्शनी खेत में प्राकृतिक खेती की करवाई जाएगी। प्रदेश में कृषि विभाग द्वारा बनाए गए पोर्टल पर अब तक प्रदेश के 1,253 किसानों ने स्वेच्छा से प्राकृतिक खेती अपनाने के लिए पंजीकरण करवाया है।

प्राकृतिक खेती के लिए बनाया जाएगा पोर्टल

मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों के लिए प्राकृतिक खेती का प्रदर्शन प्लांट लगाने हेतु पोर्टल बनाया जाएगा। इस पोर्टल पर जमीन की पूरी जानकारी देने के साथ-साथ किसान स्वेच्छा से फसल विविधिकरण अपनाने बारे जानकारी देंगे। इसके अलावा वे दलहनी फसलें उगाने बारे भी जानकारी देगा। इस प्रकार विभाग के पास पूरी जानकारी होगी तो आसानी से मोनिटरिंग की जा सकेगी।

किसानों को 20-25 के छोटे-छोटे समूह में प्रशिक्षण दिया जाए ताकि वे अच्छी तरह से फसल उत्पादन के बारे जानकारी ले सकें। प्राकृतिक खेती के उत्पादों की पैकिंग सीधे किसान के खेतों से ही हो, ऐसी योजना भी तैयार की जाएगी ताकि बाजार में ग्राहकों को इस बात की शंका न रहे कि यह प्राकृतिक खेती का उत्पाद है या नहीं।

किसानों को दिया जाएगा प्रशिक्षण

मुख्यमंत्री ने कहा कि हर ब्लॉक में एक प्रदर्शन प्लांट अवश्य बनाया जाए ताकि उस खंड के किसान उसका आसानी से लाभ उठा सकें। ब्लॉक स्तर पर 50 से ज्यादा प्रगतिशील किसान प्रशिक्षित किये जाएं। इस प्रकार प्रदेशभर में ज्यादा से ज्यादा प्रगतिशील किसान तैयार किये जा सकेंगे। अब तक 232 एटीएम, बीटीएम व किसानों ने प्राकृतिक खेती का प्रशिक्षण लिया है। अब ये लोग किसानों के पास जाकर योजनाओं के साथ प्राकृतिक खेती के लिए प्रशिक्षित करेंगे।

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