फसल उत्पादन की लागत कम करने के साथ ही फसलों का उत्पादन बढ़ाने के लिए सरकार द्वारा कई प्रयास किए जा रहे हैं ताकि किसानों की आमदनी बढ़ाई जा सके। इस कड़ी में चीनी उद्योग की प्रमुख सचिव वीणा कुमारी मीणा की अध्यक्षता में इफ़को एवं गन्ना विकास विभाग के संयुक्त तत्वाधान में प्रदेश के गन्ना किसानों के हित में गन्ने की अच्छी पैदावार, कम लागत एवं बचत किए जाने के उद्देश्य से शिमो, काशिमा एवं शिरासगी की पूर्व की दरों में संशोधन किया गया है। गन्ना विभाग द्वारा किए गए इस संशोधन से किसानों को कम दामों पर यह कीटनाशक उपलब्ध कराए जाएँगे।
समीक्षा बैठक में प्रमुख शासन सचिव द्वारा बताया गया कि किसान हित में यह निर्णय इफ़को की सहयोगी संस्था द्वारा उत्पादों की दरों में अतिरिक्त छूट प्रदान कर प्रतिस्पर्धा एवं उचित मूल्य पर इफको के उत्पादों को गन्ना समितियों के माध्यम से गन्ना किसानों को लाभ पहुंचाने के लिए लिया गया है। इसके लिए उत्तर प्रदेश सहकारी गन्ना समिति संघ द्वारा समस्त क्षेत्रीय उप गन्ना आयुक्तों एवं समस्त जिला गन्ना आयुक्तों एवं समस्त जिला गन्ना अधिकारियों को संशोधित नई दरों के संबंध में निर्देश जारी कर दिए गए है।
किसानों को अब इन दामों पर मिलेगी कीटनाशक दवाएँ
प्रबंध निदेशक ने बताया कि उत्तर प्रदेश सहकारी गन्ना समितियों के स्तर पर इफको उत्पाद शिमो, काशिमा एवं शिरासगी की पूर्व की दरों में संशोधन करते हुए नई बिक्री दर निर्धारित की गई है। निर्धारित नई दरों के अनुसार पूर्व में चोटी बेधक कीट नियंत्रण हेतु शिमो 150 मिली की दवा जो 1200 रुपए में किसानों को मिलती थी अब यह दवा किसानों को मात्र 885 रुपये में मिलेगी। वहीं 60 मिली की 500 रुपये में मिलने वाली दवा अब किसानों को 390 रुपये में मिलेगी।
काशिमा 1000 ग्राम की दवा पहले किसानों को 180 रुपए में मिलती थी जो अब किसानों को 140 रुपये में तथा कासिमा 4000 ग्राम की 650 रुपये वाली दवा अब किसानों को 520 रुपये में मिलेगी। वहीं शिरासगी की 100 ग्राम की 900 रुपए वाली दवा अब किसानों को मात्र 755 रुपये में किसानों को उपलब्ध होगी। समितियों के माध्यम से वितरित होने वाली उक्त दवाओं पर किसानों को 50 प्रतिशत का अनुदान भी दिया जाएगा।
कीटनाशक एवं खाद की लागत में होगी बचत
कम दरों पर दवायें उपलब्ध होने पर गन्ना किसान समय के अनुसार उत्पादों का अपने खेतों में छिड़काव कर कम लागत में अधिक से अधिक पैदावार प्राप्त कर सकेंगे, गन्ने की फसलों में प्रति एकड़ छिड़काव से किसानों को बचत होगी तथा खेती से जुड़ी समस्याएं भी दूर होंगी। सहकारी गन्ना विकास समितियां के निबंधक ने बताया कि इफको मेक क्राफ्ट साइंस प्राइवेट लिमिटेड द्वारा किसानों को उपलब्ध करायी जा रही दवाओं की निर्धारित की गई संशोधित दरों से गन्ना किसानों की पैदावार में वृद्धि होगी तथा कीटनाशक एवं खाद में अधिक बचत के साथ ही गन्ना किसान आर्थिक रूप से भी मजबूत होंगे।