किसानों को उनकी फसलों का उचित मूल्य मिल सके इसके लिए सरकार द्वारा सभी प्रमुख फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य यानि की MSP का निर्धारण किया जाता है। इस कड़ी में पटना के मीठापुर स्थित कृषि भावन में शुक्रवार 23 मई के दिन रबी सीजन 2026-27 के लिए फसलों की मूल्य नीति निर्धारण के लिए क्षेत्रीय बैठक आयोजित की गई।
बैठक में कृषि सचिव संजय कुमार अग्रवाल ने कहा कि कृषि केवल बटाईदार तक सीमित न रहें, बल्कि इसमें सभी प्रकार के कृषकों को समान अवसर मिले। लागत मूल्य निर्धारण में फसल की कटाई (हार्वेस्टिंग) तथा गोदामों तक अनाज पहुंचाने में होने वाले परिवहन व्यय को भी शामिल किया जाना चाहिए। न्यूनतम समर्थन मूल्य तय करने में सभी बातों का मूल्यांकन हो।
किसानों के लिए सुरक्षा कवच है समर्थन मूल्य
बैठक की अध्यक्षता करते हुए कृषि लागत एवं मूल्य आयोग के अध्यक्ष प्रो. विजय पाल शर्मा ने कहा कि न्यूनतम समर्थन मूल्य किसानों के लिए सुरक्षा कवच है, जो उन्हें बाजार की अनिश्चितताओं से बचाते हुए सुनिश्चित आय देता है। किसानों को बाजार मांग के अनुसार लाभकारी मूल्य उपलब्ध कराया जाना चाहिए, जिससे वे कृषि को लाभकारी व्यवसाय के रूप में अपनायें। प्रो. शर्मा ने दलहन एवं तिलहन फसलों के उत्पादन में वृद्धि की आवश्यकता पर बल दिया, ताकि देश की खाद्य तेलों के आयात पर निर्भरता कम हो सके। राज्य के विभिन्न जिलों से आए किसानों ने बैठक में अपने अनुभव साझा किए।