गोबर खरीदी का भुगतान
किसानों एवं पशुपालकों की आय में वृद्धि करने के उद्देश्य से सरकार द्वारा कई नई योजनायें शुरू की गई है | इन योजनाओं में छत्तीसगढ़ राज्य सरकार द्वारा हाल ही में शुरू की गई गोधन न्याय योजना महत्वपूर्ण है | योजना के तहत पशुपालकों से गोबर की खरीदी की जा रही है साथ ही इस गोबर से वर्मी कम्पोस्ट खाद तैयार कर किसानों को कम दामों पर खाद भी उपलब्ध करवाई जा रही है | 06 नवम्बर को मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने गोबर विक्रेताओं को 8.97 करोड़ रूपए का ऑनलाइन भुगतान किया |
77 हजार से अधिक किसानों को 8 करोड़ 97 लाख रूपए का भुगतान
राज्य शासन की गोधन न्याय योजना के तहत राज्य के 77 हजार 592 ग्रामीणों एवं गौपालकों से 20 अक्टूबर से 5 नवम्बर के मध्य गौठानों में क्रय किए गए गोबर खरीदी के एवज में 8 करोड़ 97 लाख रूपए का ऑनलाइन भुगतान किया गया । गोधन न्याय योजना के तहत अब तक गोबर विक्रेताओं को 47 करोड़ 38 लाख रूपए का भुगतान किया जा चुका है।
गोधन न्याय योजना के तहत गोबर की खरीदी
योजना के अंतर्गत राज्य के पशुपालकों एवं ग्रामीणों से 2 रूपये प्रति किलोग्राम कि दर से गोबर ख़रीदा जा रहा है, ख़रीदे गए गोबर से वर्मी कम्पोस्ट खाद तैयार की जा रही है | राज्य के किसानों को यह खाद कम दरों पर बेचीं जाएगी | इस बहुआयामी योजना से जहाँ पशुपालकों को आर्थिक लाभ प्राप्त हो रहा है वहीं प्रदेश में जैविक खेती को बढ़ावा भी मिलेगा |
राज्य में 5454 गौठान निर्मित है, जिसमें से 3677 गौठानों में गोबर की खरीदी की जा रही है। अब तक 23 लाख 68 हजार 900 क्विंटल गोबर क्रय किया गया है। गोबर विक्रेताओं में अन्य पिछड़ा वर्ग के 51.51 प्रतिशत, अनुसूचित जनजाति वर्ग के 37.24 प्रतिशत तथा अनुसूचित जाति वर्ग के 7.40 प्रतिशत हितग्राही शामिल हैं। अब तक 44 हजार से अधिक टांके बनाए जा चुके है, जबकि 16 हजार टांके निर्माणाधीन है। गौठानों में 8 हजार से अधिक क्विंटल वर्मी कम्पोस्ट खाद का उत्पादन हुआ है। जिसमें से एक हजार क्विंटल खाद की बिक्री हो चुकी है। शेष खाद की मात्रा की पैकेजिंग एवं विक्रय प्रक्रियाधीन है।