मानसून की ताजा स्थिति एवं पूर्वानुमान
लम्बे इंतज़ार के बाद देरी से चल रहा मानसून आखिरकार इंदौर एवं सूरत 25 को पहुँच ही गया | आमतौर पर 10 जून तक मानसून गुजरात के दक्षिणी क्षेत्र में पहुँच जाता है परन्तु इस बार यह 15 दिन देरी से पहुंचा है | वहीँ इंदौर में भी मानसून इस वर्ष 13 दिनों की देरी से पहुंचा है | मानसून के पहुँचने के साथ ही यहाँ झमाझम बारिश शुरू हो गई हैं | मध्यप्रदेश के दक्षिण- पश्चिमी जिलों में बारिश का सिलसिला जारी है जो अभी जारी रहने का अनुमान है |
मानसून की ताजा स्थिति
दक्षिण-पश्चिम मानसून आज मध्य अरब सागर के शेष भाग कोंकण एवं मध्य महाराष्ट्र उत्तरी अरब सागर के कुछ भाग तथा दक्षिण गुजरात एवं मध्य प्रदेश के कुछ हिस्से पर आगे बढ़ गया है | मानसून की उत्तरी सीमा 21 डिग्री उत्तरी अक्षांश 60 डिग्री पूर्वी देशांतर 21 डिग्री उत्तरी अक्षांश 65 डिग्री पूर्वी देशांतर वेरावल, सूरत, इंदौर, मंडला, पेंड्रा, सुल्तानपुर, लखीमपुर-खीरी, मुक्तेश्वर से 31 डिग्री उत्तरी अक्षांश 80 डिग्री पूर्वी देशांतर तक पहुंच गया है l
मानसून को प्रभावित करने वाले कारक
- मौसम को प्रभावित करने वाले कारक पहला एक दौड़ी का समुद्री सतह पर पंजाब से नागालैंड तक बनी है जो दक्षिण हरियाणा दक्षिण उत्तर प्रदेश बिहार पश्चिम बंगाल का गंगा का क्षेत्र एवं आसान से होकर जा रही है |
- दूसरा हवा के ऊपरी भाग में चक्रवाती हवा का घेरा 1.5 एवं 2.1 किलोमीटर के बीच गुजरात एवं आसपास के उत्तरी महाराष्ट्र एवं पश्चिम मध्य प्रदेश के ऊपर बना हुआ है |
- तीसरा एक कम दबाव का क्षेत्र उत्तरी बंगाल की खाड़ी में आसपास 3 जून के आसपास बनने की संभावना है |
इन सभी कारकों के चलते पश्चिमी मध्य प्रदेश और विदर्भ में अगले 24 घंटों में अनेक स्थानों पर मध्यम से भारी बारिश होने की संभावना है।