जीवामृत बनाने की विधि
दिनोंदिन खेती की लागत में वृधि हो रही है परन्तु किसानों की आय में नहीं | किसान भाई खेती में मुनाफा कमाने के दो ही तरीके है एक तो यह की लागत कम कर दे तथा दूसरा यह की अपनी फसल को बेचने पर भाव अधिक मिल सके | भाव तो किसान के हाथ में नहीं है परन्तु उसकी लागत कम करना किसान के बस में है, इसके लिए किसान को जैविक खेती की तरफ बढ़ना होगा | इसलिए किसान समाधान आप सभी के जैविक कीटनाशक दवा बनाने की विधि लेकर आया है |
जीवामृत बनाने के लिए सामग्री
- गाय का मूत्र – 10 लीटर
- गुड – 3 किलोग्राम
- गाय का गोबर – 5 किलोग्राम
- बेसन(किसी भी दाल से) – 2 किलोग्राम
बनाने की विधि
सबसे पहले गाय के मूत्र को एक कंटेनर में रखें तथा इसमें गाय का गोबर 5 किलोग्राम मिला दें | गोबर को मूत्र में इस तरह से मिलायें की मूत्र के साथ घुल जाय किसी भी तरह का कोई गाँठ नहीं रहे | इसके बाद 3 किलोग्राम गुड को किसी दुसरे बर्तन में पानी के साथ घोल लें | (गुड का प्रयोग इस लिए करते हैं की तैयार मिश्रण में उपस्थित बैक्ट्रिया ज्यादा एक्टिव हो जाता है) | गुड को भी इस तरह घोले की किसी भी तरह का कोई ढेला नहीं रह पाये |
अब घुले हुये गुड को गोबर युक्त मूत्र में मिला दें | इन दोनों मिश्रण को अच्छी तरह से चलायें | अब अन्त में 2 किलोग्राम बेसन को मिला दे | कुछ देर तक मिश्रण को चलाते रहें | जब मिश्रण अच्छी तरह से मिल जाए तो एक बड़े से कंटेनर में दान दें | और कुछ देर तक एक लकड़ी से चलते रहें | इसके बाद उसमें उतना ही पानी मिला दें |
इसी तरह सभी मिश्रण को 7 दिन तक छोड़ दें लेकिन सातों दिन समय – समय पर एक लकड़ी से चलाते रहें | सात दिन के बाद आप इसे पौधों पर उपयोग कर सकते हैं | यह कीटनाशक पौधों पर के फंगी को खत्म कर देता है | इस तरह से आप अपने खेती का लागत कम कर सकते हैं |