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मध्यप्रदेश में जाने कैसे एवं कब तक मिलेगा कर्ज माफ़ी का पैसा

सरकार ने साफ किया कब तक का कर्ज होगा माफ़, ऋणमुक्ति प्रमाण-पत्र के लिए आवेदन कैसे करना होगा

              लगता है की जैसे – जैसे चुनाव नजदीक आते जा रहे है वैसे – वैसे सभी सरकारों ने किसानों के लिए घोषणा के साथ – साथ लाभ भी देने लगी है | अभी ताजा मामला मध्य प्रदेश का है , जहां सरकार बनते ही किसानों का कर्ज 31 मार्च तक माफ़ किया गया था वहीँ इस फैसले में सुधार करते हुये सरकार ने 12 दिसम्बर तक का लोन माफ़ कर दिया है |

 शनिवार को मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ की अध्यक्षता में कैबिनेट की बैठक संपन्न हुई | इस बैठक में सरकार ने किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण फैसला लिया है | बैठक के बाद कृषि कल्याण मंत्री जीतू पटवारी ने संवादाता सम्मलेन में यह जानकारी दिया की राज्य सरकार 1 अप्रैल 2007 से 12 दिसम्बर 2018 तक का कृषि लोन माफ़ करेगी | इसके तहत वर्ष 2018 – 19 के रबी फसल के लिए भी लिए हुये लोन माफ़ होंगे | इस लोन माफ़ी के तहत राष्ट्रीय, ग्रामीण, सहकारी निजी बैंकों का लोन माफ़ किया जायेगा तथा प्रदेश के सभी किसान को शामिल किया गया है | केवल वह किसान इस योजना के पात्र नहीं होंगे जो income tax भरते हैं |

ऐसे किसान जिन पर 31 मार्च, 2018 की स्थिति में रेगुलर आउट-स्टेंडिंग लोन और एनपीए/कालातीत लोन था तथा जिन किसानों ने दिनांक 12 दिसम्बर, 2018 तक पूर्णत: अथवा आंशिक रूप से कृषि ऋण पटा दिया है, उन्हें भी योजना का लाभ दिया जायेगा। प्राथमिक कृषि साख समितियों द्वारा दिये गये अल्पकालीन फसल ऋण भी योजना में शामिल रहेंगे। योजना के दायरे में भूतपूर्व सैनिक शामिल रहेंगे। योजना का लाभ लगभग 55 लाख कृषकों को मिलेगा। इसमें लघु और सीमांत 37 लाख कृषकों को प्राथमिकता से ऋण माफी का लाभ मिलेगा।

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किसान समाधान के माध्यम से इसे आसान भाषा में समझें

लोन माफ़ी में कौन – कौन से बैंकों को शामिल किया गया है ?

इस लोन माफ़ी में सभी बैंको शामिल किया गया है | यह भ्रम खत्म हो गया है की सरकार केवल सहकारी बैंक कर्ज माफ़ कर रही है | आज की कैबिनेट बैठक में लोन माफ़ी के लिए राष्ट्रीय, ग्रामीण, सहकारी तथा निजी बैंकों को शामिल किया गया है | इसके लिए बैंकों में किसानों की सूचि लगाई जाएगी |

लोन माफ़ी के पात्र सभी किसान को शामिल किया गया है |

कैबिनेट के फैसले के बाद मध्य प्रदेश के सभी किसान को शामिल किया गया है | इस योजना के तहत केवल वे किसान नहीं आयेंगे जो सरकार को income tax (आयकर) भरते है | इस योजना से प्रदेश के 55 लाख किसान लाभान्वित होंगे |

लोन माफ़ी कब से कब तक होगा ?

17 दिसम्बर 2018 को सरकार बनने पर मुख्यमंत्री ने लोन माफ़ी की मंजूरी दिया था जो 31 मार्च तक के लिए हुये लोन पर लागु था | लेकिन आज राज्य सरकार ने साफ़ कर दिया की 1 अप्रैल 2007 से 12 दिसम्बर 2018 तक का कृषि लोन माफ़ करेगी | इसके तहत वर्ष 2018 – 19 के रबी फसल के लिए भी लिए हुये लोन माफ़ होंगे |

किसान को क्या करना पड़ेगा ?

इस लोन माफ़ी के लिए किसानों को लोन माफ़ी प्रमाण पत्र दिया जायेगा | इसके लिए किसानों को राष्ट्रीय, ग्रामीण, तथा सरकारी बैंकों में 26 जनवरी तक बैंकों में गुलाबी, सफ़ेद और हरे रंग के फार्म दिये जायेंगे | जिसे किसान को भरकर बैंक में जमा कराना होगा | इसके साथ – साथ 5 फ़रवरी तक यही फार्म पंचायत में भी बाटें जायेंगे | यह फार्म किसानों को भरना जरुरी है | किसानों को 22 फरवरी 2019 से उत्साह पूर्वक कार्यक्रम कर ‘ऋणमुक्ति प्रमाण-पत्र’ और किसान सम्मान-पत्र दिये जायेंगे। ऐसे किसान जिन्होंने 31 मार्च 2018 को बकाया ऋण को पूर्णत: अथवा आंशिक रूप से दिनांक 12 दिसंबर 2018 तक पटा दिया है, उन्होंने योजना में लाभ प्रदान करने के अतिरिक्त ‘किसान सम्मान-पत्र’ से सम्मानित किया जायेगा।

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अलग – अलग रंग के फार्म का मतलब क्या क्या है ?

किसानों को तीन फार्म उपलब्ध रहेंगे लेकिन भरना एक ही है |

  • हरा रंग का फ़ार्म वे किसान भरेंगे जिनके पास आधार कार्ड है |
  • सफ़ेद रंग का फ़ार्म वे किसान भरेंगे जिनके पास आधार कार्ड नहीं है | लेकिन उस किसान को दस्तावेज के रूप में कोई एक दस्तावेज देना होगा |
  • गुलाबी रंग का फार्म वे किसान भरेंगे जिनके पास किस भी तरह का कोई पहचान पत्र नहीं है |
अगर किसी किसान को परेशानी हो तो कहाँ संपर्क करें ?

यह बहुत बड़ी बात है की जब भी बड़े स्तर की कार्यकर्म होता है तो बहुत से लोग उस योजना का लाभ लेने से वंचित हो जाते हैं | इसलिए सरकार ने इसकी जिम्मेदारी विकास खंड के मुख्य कार्यपालक अधिकारी को दिया गया है |

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